फर्जी एंट्री रोकने के लिए FRS और OTP सिस्टम लागू, परिजनों की आपत्तियां भी शुरू
ओटीपी के बिना नहीं मिलेगा पोषण
रोजाना भास्कर (चंडीगढ़/जालंधर): पंजाब सरकार ने राज्य भर के 27314 आंगनवाड़ी केंद्रों में अब आहार वितरण के लिए ओटीपी और लाइव फोटो सिस्टम अनिवार्य कर दिया है। यह सख्ती इसलिए की गई है ताकि फर्जी लाभार्थियों को मिलने वाला आहार रोका जा सके।
हर लाभार्थी की होगी डिजिटल पहचान
नई व्यवस्था के तहत जब तक माता-पिता के मोबाइल पर ओटीपी नहीं आएगा और बच्चे या गर्भवती महिला की लाइव फोटो नहीं खींची जाएगी, तब तक उन्हें आहार नहीं मिलेगा। सरकार ने इसे ई-केवाईसी प्रणाली का हिस्सा बताया है।
पोषण ट्रैकर ऐप से होगी निगरानी
अब सभी केंद्रों में “पोषण ट्रैकर ऐप” अनिवार्य होगी। आंगनवाड़ी वर्कर इस ऐप में बच्चों, गर्भवती महिलाओं और स्तनपान कराने वाली माताओं की जानकारी दर्ज करेंगी। इसके जरिए केंद्र की पूरी निगरानी डिजिटल रूप से संभव होगी।
क्या-क्या मिलेगा आहार में?
6 माह से 6 वर्ष तक के बच्चों और गर्भवती महिलाओं को निम्नलिखित पोषण आहार मिलेगा:
खिचड़ी, दलिया, नमकीन मुरमुरा, पंजीरी, सूखा राशन।
ग्रामीण क्षेत्रों में उठी परेशानी की आवाज
नई प्रक्रिया को लेकर कई ग्रामीण और मजदूर परिवारों ने आपत्ति जताई है। उनका कहना है कि कई घरों में मोबाइल नहीं है या माता-पिता खेतों या मजदूरी पर चले जाते हैं, ऐसे में ओटीपी लाना संभव नहीं हो पाता।
प्रशासन का जवाब: “थोड़ी परेशानी, लेकिन व्यवस्था मजबूत”
कुलविंदर सिंह, अतिरिक्त डिप्टी डायरेक्टर, आंगनवाड़ी, पंजाब ने कहा “हर योजना की ई-केवाईसी जरूरी है। शुरुआत में कुछ दिक्कतें आएंगी, लेकिन बाद में प्रक्रिया सामान्य हो जाएगी। यह व्यवस्था पारदर्शिता और सही लाभार्थी तक पोषण पहुंचाने के लिए जरूरी है।”