जालंधर, रोजाना भास्कर (हरीश शर्मा): जालंधर के पारस एस्टेट में 13 वर्षीय बच्ची की हत्या के बाद राजनीतिक और सामाजिक हलकों में रोष बढ़ता जा रहा है। पूर्व सांसद सुशील कुमार रिंकू, भाजपा पंजाब के कार्यकारी प्रधान अश्वनी शर्मा, पूर्व विधायक शीतल अंगुराल, पूर्व विधायक केडी भंडारी और अन्य नेताओं ने पीड़ित परिवार से मुलाकात कर न्याय की लड़ाई में पूरा साथ देने का आश्वासन दिया।
पूर्व सांसद सुशील रिंकू ने कहा कि देश में बच्चों के सोशल मीडिया अकाउंट पर प्रतिबंध लगना चाहिए, ताकि उन्हें इस तरह की घटनाओं से बचाया जा सके। वहीं अश्वनी शर्मा ने घटना को “इंसानियत की हत्या” बताते हुए पुलिस पर गंभीर लापरवाही का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि महिला पुलिसकर्मी के बिना तलाशी लेना पंजाब पुलिस की मानसिकता को दर्शाता है।

नेताओं ने कहा कि एक साल पहले पति खो चुकी महिला के लिए बेटी की मौत असहनीय पीड़ा है। उन्होंने आरोपी को फांसी की सजा देने की मांग की और कहा कि यह राजनीति का विषय नहीं, बल्कि न्याय का सवाल है।
वहीं पंजाब महिला आयोग की चेयरपर्सन राज लाली गिल और पंजाब बाल आयोग के चेयरमैन कंवरदीप सिंह ने भी परिवार से मिलकर भरोसा दिलाया कि पुलिस कमिश्नर से रिपोर्ट तलब की जाएगी। उन्होंने सवाल उठाया—कैसे संभव है कि 4 मरले के घर में तलाशी के दौरान पुलिस को बच्ची दिखाई ही नहीं दी? उन्होंने एएसआई सहित सभी संबंधित पुलिसकर्मियों पर कड़ी कार्रवाई की मांग की।
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