किसान संगठनों ने बीजेपी को घेरने के लिए तैयार की नई योजना, घेराबंदी की तैयारी, साइलो केंद्रों को लेकर किसानों ने दी ये राय

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चंडीगढ़ । Harish Sharma

संयुक्त किसान मोर्चा से जुड़े पंजाब के 32 किसान संगठनों ने चुनाव प्रचार के दौरान बीजेपी का विरोध करने की रणनीति तैयार की है।

वोट मांगने आने वाले बीजेपी उम्मीदवारों और नेताओं की घेराबंदी तेज करने का फैसला किया है।

संयुक्त किसान मोर्चा की एक महत्वपूर्ण बैठक आज यहां किसान भवन में बलबीर सिंह राजेवाल, रवनीत सिंह बराड़ और जंगबीर सिंह चौहान की अध्यक्षता में हुई जिसमें पंजाब के 32 संगठनों ने भाग लिया।

8 अप्रैल को चंडीगढ़ में होने वाली रैली को स्थगित करने का निर्णय लिया गया, जो पंजाब सरकार द्वारा कॉरपोरेट्स के स्वामित्व वाले 9 साइलो को गेहूं खरीद केंद्र घोषित करने के फैसले के खिलाफ थी।

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बैठक में कहा गया कि किसान आंदोलन के दबाव में और आगामी लोकसभा चुनाव को देखते हुए सरकार ने 15 मार्च की अधिसूचना वापस ले ली है, लेकिन कृषि के निजीकरण और इसे कॉरपोरेट कंपनियों को सौंपने की तलवार लटकी रहेगी किसानों की गर्दन पर और जब तक यह नीति स्थायी रूप से माफ नहीं हो जाती।

मोर्चे के प्रमुख नेता बलबीर सिंह राजेवाल ने कहा कि एपीएमसी ने सरकार से निजी साइलो को बंद करने का स्थायी समाधान मांगा है। अधिनियम में आवश्यक संशोधन कर निजी खरीद केन्द्रों की स्थापना को प्रमाणित करने वाले प्रावधान को निरस्त किया जाये।

बैठक का यह भी विचार था कि वह भंडारण उद्देश्यों के लिए साइलो के विरोध में नहीं है, बशर्ते वे सरकार द्वारा स्वयं स्थापित किए गए हों।

उन्होंने कहा कि बैठक में 21 मई को जगराओं में होने वाली भाजपा विरोधी रैली को सफल बनाने का निर्णय लिया गया और किसानों को लामबंद करने के लिए राज्य में जोरदार अभियान चलाने का निर्णय लिया गया।

भाजपा प्रत्याशियों का विरोध करने और उन्हें हराने के लिए प्रश्नावली तैयार करने और पर्चा छपवाकर जनता के बीच बांटने का निर्णय लिया गया है।

इस संबंध में बलबीर सिंह राजेवाल, प्रेम सिंह भंगू, रवनीत सिंह बराड़, बलदेव सिंह निहालगढ़ और अंग्रेज सिंह की पांच सदस्यीय कमेटी बनाई गई है, जो 9 अप्रैल को चंडीगढ़ में बैठक कर इस काम को आगे बढ़ाएगी।