रोजाना भास्कर (जालंधर): जालंधर में वकीलों ने पुलिस की कथित लापरवाही और पक्षपातपूर्ण रवैये के खिलाफ जोरदार प्रदर्शन किया है। जालंधर बार एसोसिएशन ने सोमवार से अदालतों में 9 दिनों तक ‘नो वर्किंग डे’ का ऐलान किया, जिससे कोर्ट का कामकाज ठप हो गया।
बार एसोसिएशन का कहना है कि उनके साथी वकील मंदीप सिंह सचदेवा से रंगदारी मांगी गई थी। जब ट्रैप लगाकर आरोपी को पैसे लेने बुलाया गया, तो वह मौके पर आ भी गया। पुलिस की सीआईए टीम ने उसे पकड़ लिया, लेकिन कुछ देर बाद यह कहकर छोड़ दिया गया कि वह निर्दोष है।
बार प्रधान आदित्य जैन ने सवाल उठाया कि, “जो व्यक्ति रंगदारी के पैसे लेने आया, वह आखिर निर्दोष कैसे हो सकता है?” उनका आरोप है कि पुलिस ने एफआईआर में जरूरी धाराएं नहीं लगाईं और जांच में गंभीरता नहीं दिखाई।
वकीलों ने सोशल मीडिया पर वायरल भड़काऊ वीडियो न हटाए जाने पर भी नाराजगी जताई है। बार एसोसिएशन ने सीबीआई या किसी केंद्रीय एजेंसी से मामले की जांच, आरोपियों की गिरफ्तारी, विवादित वीडियो हटाने और एडवोकेट प्रोटेक्शन एक्ट लागू करने की मांग की है।
अब देखना यह है कि सरकार और प्रशासन वकीलों की इन मांगों पर क्या रुख अपनाते हैं, क्योंकि जब कानून के रखवाले ही न्याय के लिए सड़क पर उतरें, तो संदेश गंभीर होता है।